World Cancer Day 2022: कैंसर एक ऐसी बीमारी है जिसका समय पर पता नहीं चले तो यह बीमारी जान भी ले सकती है। कैंसर के प्रति लोगों को जागरूक करने के लिए हर साल 4 फरवरी को विश्व कैंसर दिवस मनाया जाता है। इस दिन को मनाने का खास मकसद कैंसर से होने वाली मौतों का आंकड़ा कम कपना है। WHO के मुताबिक कैंसर एक ऐसी खतरनाक बीमारी है जिसकी वजह से 2020 में एक करोड़ लोगों ने अपनी जान गवाई है।
भारत में ब्रेस्ट कैंसर के मामलों में तेजी से इज़ाफा हुआ है। अब इस बीमारी की चपेट में कम उम्र की महिलाएं भी आ रही है। भारत में यह बीमारी पहले 50 साल की उम्र के बाद महिलाओं को होती थी, लेकिन अब यह 30 साल से कम उम्र की महिलाओं को अपनी चपेट में ले रही है। यह बीमारी ग्रामीण महिलाओं की तुलना में शहर की औरतों को ज्यादा परेशान कर रही है। इंटरनेशनल एजेंसी फॉर रिसर्च ऑन कैंसर (आइएआरसी) का अनुमान है कि आने वाले समय में कैंसर के मरीजों की संख्या में तेजी से इज़ाफा होगा। यह बीमारी पुरुषों और महिलाओं दोनों में बढ़ने का अनुमान है। हर पांच में से एक पुरुष और छह में से एक महिला ब्रेसट कैंसर से पीड़ित होगी।
खराब लाइफस्टाइल और खान-पान की खराबी की वजह से पनपने वाली इस बीमारी के अलग-अलग लोगों में अलग-अलग लक्षण हो सकते हैं। इस बीमारी से पीड़ित अधिकांश लोग स्तन कैंसर के लक्षण बिल्कुल भी नोटिस नहीं करते हैं। इस बीमारी के सबसे आम लक्षण ब्रेस्ट या बगल में गांठ है। इसके अलावा स्किन में बदलाव, दर्द, निप्पल का अंदर की ओर खीचाव भी शामिल है। गंभीर लक्षणों में निप्पल से खून भी आने लगता है। इस बीमारी के लक्षणों की पहचान शुरुआत में कर ली जाए तो जान को खतरे से बचाया जा सकता है। आइए जानते हैं कि ब्रेस्ट कैंसर के वॉर्निंग साइन कौन-कौन से हैं जिनकी तुरंत पहचान करने की जरूरत है।